Friday 17 July 2020

संत बनने के लिए 2 साल हिमालय में रहे मोदी आखिर कैसे बने पीएम; यहाँ जानिए

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक ऐसे शख्स हैं जो भारत में ही नहीं बल्कि दुनिया भर में काफी पॉपुलर हैं। उनकी गिनती सबसे ज्यादा लोकप्रिय नेताओं में होती है और उनकी पर्सनल लाइफ के बारे में जानने के लिए भी लोग रूचि दिखाते हैं।

लेकिन मोदी के बचपन और जवानी के समय की कुछ ऐसी बातें हैं जिनके बारे में आप नहीं जानते होंगे। हम आपको पीएम मोदी के अब तक के सफर के बारे में बताने जा रहे हैं।
राजा बनेगा या संत
जब मोदी जी 12 साल के थे तो उनकी मां ने वाडनगर के एक ज्‍योतिषी को उनकी कुंडली दिखाई थी। उस ज्योतिष ने मोदी की कुंडली देख कर कहा था कि आपका बीटा या तो राजा बनेगा या शंकराचार्य जैसा महान संत।


कैसे बने संत
अपने आरंभिक जीवन में मोदी जी संत बन गए थे। जब भी वे किसी संत को देखते थे तो उनके पीछे चल पड़ते थे। तब उनकी मां को ये डर था कि उनका बीटा सन्यासी ना बन जाए। बस इसी वजह से उनकी शादी जसोदाबेन से करवा दी गई। बाल विवाह के दौर में शादी के बाद लड़की को गौना रखने का प्रचलन था।
विवाह के कुछ साल बाद हीराबेन ने मोदी से कहा कि अब तुम्‍हारे गौने की बात चल रही है। इस बात को सुनकर मोदी जी को बेहद ही गुस्सा आया क्योकि वो इन सब चक्करों में नहीं पड़ना चाहते थे। वे हिमालय जाकर जिंदगी के सत्य का पता लगाना चाहते थे इसलिए वे रात को चोरी छुपे घर से भाग गए।
2 साल तक मोदी जी हिमालय की गुफाओं में साधुओं की तरह घूमते रहे तभी उन्हें एक साधू मिला। उस साधु ने मोदी जी से हिमालय में भटकने का कारण पूछा। तो उन्‍होंने बताया कि वो ईश्‍वर की खोज में यहां आए हैं।
तब साधु महाराज ने मोदी जी से कहा कि तुम्‍हारी उम्र हिमालय की कंदराओं में भटकने की नहीं है। समाज की सेवा करके भी तुम्‍हें ईश्‍वर मिल सकते हैं। 17 साल की उम्र में ही उन्‍होंने सन्‍यास लेकर 1967 में बेलूर मठ भी गए थे। वहां पर उनकी मुलाकात स्‍वामी माधवानंद से हुई थी।
इसके बाद मोदी जी ने बीजेपी पार्टी में कार्यकर्ता के रूप में अपने राजनैतिक जीवन का आरंभ किया और यहां तक पहुंचे।